रियल एस्टेट कारोबार में आने वाली कठिनाइयों को देखते हुए उत्तर प्रदेश रियल एस्टेट रेग्युलेटरी अथॉरिटी (रेरा) ने अहम पहल की है। दरअसल, सूबे की राजधानी लखनऊ में पहली बार दो दिवसीय नेशनल रेरा कॉन्क्लेव का आयोजन किया।
गौरतलब है कि रियल एस्टेट रेग्युलेटरी अथॉरिटी ने लकनऊ के गोमती नगर के इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में नेशनल रेरा कॉन्क्लेव का 3 से 4 नवंबर तक आयोजन किया। कार्यक्रम का उद्घाटन मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने किया। कार्यक्रम में केंद्रीय आवास एवं शहरी विकास मंत्री हरदीप सिंह पुरी, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शिरकत की। कार्यक्रम में कई प्रदेशों के रेरा चेयरमैन भी शामिल हुए।
सीएम योगी ने रेरा कॉन्क्लेव में लोगों को संबोधित करते हुए कहा, जनता का विश्वास सरकार पर बढ़ा है। हमने 93 लाख लोगों को शहरों में और 3 करोड़ लोगों को ग्रामीण क्षेत्रों में आवास दिए मुहैया करवाए हैं। मुख्यमंत्री ने कहा इस सेक्टर को हम रोजगार के रुप में भी आगे बढ़ा सकते हैं, जिससे लोगों को किसी भी तरह की परेशानियां ना हो सकें।
वहीं यूपी रेरा के चेयरमैन राजीव कुमार ने बताया कि पहली बार इस राष्ट्रीय रेरा कॉन्क्लेव के आयोजन का मौका उत्तर प्रदेश को मिला है, जिससे देश की जीडीपी में रियल एस्टेट कारोबार का योगदान 2030 तक एक ट्रिलियन डॉलर होने की संभावना है।
जीडीपी (Gross domestic product) में बड़े योगदान के साथ रोजगार के बड़े अवसर भी इस क्षेत्र से पैदा होंगे।
रेरा कॉन्क्लेव में पांच सेशन आयोजित किए गए, जिसमें देश के कई बड़े उद्यमी और रियल स्टेट से जुड़े विशेषज्ञों ने शिरकत की है। कॉन्क्लेव में बिल्डरों के फर्जीवाड़े से लेकर घर खरीदने-बेचने की प्रक्रिया से जुड़े हर मुद्दे पर चर्चा की गई।