नई दिल्ली: दिवाली के 6 दिन बाद मनाए जाने वाले छठ पर्व की शुरुआत 31 अक्टूबर को नहाय खाय के त्योहार से शुरू हो चुकी है। छठ पर्व के दूसरे दिन यानि कि आज खरना मानाया जा रहा है। इस दिन को शुद्धिकरण के रूप में भी जाना जाता है। इस दिन व्रतधारी पूरे दिन व्रत रखता है और संध्या के समय डूबते सूर्य को अर्घ्य देते हैं।
ऐसी मान्यता है कि इस दिन महिलाएं जो व्रत रखती हैं, वह परिवार की सलामती और खुशियों के लिए छठ मैय्या की पूजा करती हैं और गुड़ से बनी खीर के प्रसाद का भोग लगाती हैं। इसके बाद इस खीर को ही प्रसाद के रूप में ग्रहण किया जाता है। इस प्रसाद को ग्रहण करने के बाद से 36 घंटे तक का निर्जला व्रत रखा जाता है।
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खरना के दिन बन रहा है शुभ संयोग
ज्योतिषाचार्यों के मुताबिक इस बार के खरने के दिन बेहद शुभ संयोग बन रहा है। दरअसल, इस बार जो शुभ संयोग बन रहा है उसमें सूर्य देव को अर्घ्य देने से आपके सभी कष्ट दूर हो जाएंगे। कहा जा रहा है कि इस योग में व्रतधारी व्यक्ति पर सूर्य भगवान और छठ मैया की विशेष कृपा बरसेगी और सभी अशुभ प्रभाव नष्ट हो जाएंगे।