लेह: जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 खत्म होने के साथ ही 5 अगस्त को केंद्र सरकार ने जम्मू-कश्मीर को दो केंद्र शासित प्रदेशों में बांट दिया था। केंद्र सरकार के फैसले के अनुसार आज यानि कि सरदार वल्लभ भाई पटेल की 144वीं जयंती के अवसर पर जम्मू-कश्मीर और लद्दाख दो अलग-अलग केंद्र शासित प्रदेश अस्तित्व में आ गए हैं। गुरुवार सुबह राधा कृष्ण माथुर ने लद्दाख के प्रथम उपराज्यपाल के रूप में शपथ ली। वहीं, जीसी मुर्मू भी आज ही जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल पद की शपथ लेंगे।
Leh: Radha Krishna Mathur takes oath as the first Lieutenant Governor of Union Territory of Ladakh. pic.twitter.com/lYpybg1YD0
— ANI (@ANI) October 31, 2019
5 अगस्त को जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने के फैसले के साथ ही लद्दाख को कश्मीर से अलग करने के फैसले पर मुहर लगाई गई और ये फैसला 31 अक्टूबर से लागू हो गया है।
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आरके माथुर के शपथ लेने के बाद नरूला को तत्काल प्रभाव से उनका सलाहकार नियुक्त किया गया है। नरूला 1989 बैच के आईएएस अधिकारी हैं। इससे पहले नरूला जम्मू कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मलिक के प्रधान सचिव थे। वहीं, एस एस खंडारे को केंद्र शासित प्रदेश लद्दाख का ‘पुलिस प्रमुख’ नियुक्त किया गया है, वह 1995 बैच के आईपीएस अधिकारी हैं।
विधानसभा का कार्यकाल नहीं होगा 6 साल
जम्मू कश्मीर में पुडुचेरी की तरह विधानसभा होगी जबकि लद्दाख बिना विधायिका के चंडीगढ़ के तरह केंद्र शासित प्रदेश होगा।अब तक जम्मू-कश्मीर में विधानसभा का कार्यकाल 6 साल तक का होता था, लेकिन अब यह कार्यकाल 5 साल का होगा।