नई दिल्ली: 7 साल पहले हुए निर्भया गैंगरेप मामले पर पटियाला हाउस कोर्ट ने 7 जनवरी तक सुनवाई टाल दी है। इस सुनवाई में दोषियों का डेथ वॉरंट जारी नहीं किया गया है। कोर्ट की ओर से कहा गया है कि उन्हें 7 जनवरी तक का समय दिया जाता है, वह दया याचिका जैसे जो भी विकल्प फॉलो करना चाहते हैं, कर सकते हैं। सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले के बाद निर्भया की मां रोने लगीं। उन्होंने कहा कि उनके पास तो अधिकार हैं, लेकिन हमारा क्या?
Asha Devi, mother of 2012 Delhi gang-rape victim: The court has given them (convicts) to time to seek remedy. Court is only looking at their (convicts) rights and not ours. There is no guarantee that a judgement will be given on next date of hearing. pic.twitter.com/Yk6ZmQRLJH
— ANI (@ANI) December 18, 2019
निर्भया की मां आशा देवी ने कहा, ‘अदालत ने उन्हें (दोषियों) को उपाय की तलाश के लिए समय दिया है। कोर्ट केवल उनके (दोषियों) अधिकारों को देख रहा है और हमारे नहीं। इस बात की कोई गारंटी नहीं है कि सुनवाई की अगली तारीख पर फैसला दिया जाएगा।’
Court to Mother of 2012 gangrape victim: Have full sympathy with you. We know someone has died but there are their(convicts) rights too. We are here to listen to you but are also bound by the law. https://t.co/KVl68DZEm8
— ANI (@ANI) December 18, 2019
वहीं, कोर्ट ने कहा, ‘आपके साथ हमारी पूरी सहानुभूति है। हम जानते हैं कि किसी की मृत्यु हो गई है, लेकिन उनके (दोषियों) अधिकार भी हैं। हम यहां आपको सुनने के लिए हैं, लेकिन कानून से भी बंधे हैं।’
बता दें कि बुधवार को ही सुप्रीम कोर्ट ने निर्भया गैंगरेप के एक दोषी अक्षय ठाकुर की पुनर्विचार याचिका को खारिज कर दिया। जस्टिस आर. भानुमति की अध्यक्षता वाली तीन जजों की पीठ ने कहा कि अक्षय की याचिका भी अन्य दोषियों की याचिका के ही समान थी और इन याचिकाओं को कोर्ट 2018 में खारिज कर चुकी है।