Delhi: जिन लोगों ने किसी बैंक से लोन लिया है उनके लिए एक अच्छी खबर है. अब लोन लिए हुए लोग अपनी EMI कम करा सकेंगे. इसमें (Loan Settlement Scheme) लोन लिए हुए लोग बैंक या फिर अन्य वित्तीय संस्थानों में जाकर के अपनी EMI को कम करा सकेंगे. इस तरकीब से उनके सिबिल स्कोर (Cibil Score) पर भी किसी तरह का निगेटिव इफेक्ट नहीं पड़ेगा. लोन मोरेटोरियम लिए ग्राहकों को बैंकों ने अगस्त तक राहत दी थी, जिसमें बैंकों ने अपने लोन लिए ग्राहकों को किस्त भरने से छूट दी थी. हालांकि अब सितंबर से ऐसे लोगों को अपनी किस्त ब्याज के साथ जमा करनी होगी. ऐसे में उनके ऊपर एक बार फिर से ज्यादा ईएमआई का बोझ पड़ने लगेगा.
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दरअसल आरबीआई ने लोन सेटलमेंट (Loan Settlement Scheme) के लिए स्कीम जारी की है. आरबीआई के गवर्नर शशिकांत दास ने नई घोषणा में लोन सेटलमेंट के लिए एक और स्कीम को जारी किया है. इस स्कीम के जरिए भी ग्राहक अपना लोन सेटलमेंट करा सकते हैं. अच्छी बात ये है कि इस स्कीम के लाभ से डिफॉल्टर वंचित रहेंगे. रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया के गवर्नर ने मौद्रिक समीक्षा नीति की बैठक में कर्ज पुनर्गठन सुविधा (Debt restructuring facility) का ऐलान किया है. लोन रिस्ट्रक्चरिंग की मजूंरी मिलने के बाद अब बैंक अपने कर्जदारों के लोन वापसी का शेड्यूल फिर से तय कर सकते हैं. इसके तहत बैंक लोन चुकाने का पीरियड बढ़ा सकते हैं या पेमेंट में भी राहत दे सकते हैं. इस रिस्ट्रक्चरिंग के तहत बैंक तय कर सकेंगे कि EMI को घटाना है, लोन का पीरियड बढ़ाना है, या सिर्फ ब्याज वसूलना है.
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इस स्कीम से पहले रिजर्व बैंक ने ग्राहकों को मोरेटोरियम का ऐलान लॉकडाउन की शुरुआत में 3 माह के लिए किया था लेकिन 22 मई को इसे तीन माह के लिए आगे बढ़ा दिया था. सेंट्रल बैंक के इस फैसले के बाद बैंकों से लोन लेने वाले ग्राहकों की 6 महीने तक लोन की EMI देने में छूट मिली थी लेकिन अब मोरेटोरियम लोन अवधि 31 अगस्त को खत्म होने जा रही है.